गुढ़ा बोले- CRPF के बीच से 9 मंजिल पर जाकर लाया लाल डायरी, ऐसा नहीं करता तो गहलोत जेल में होते!
Rajendra Gudha’s statement on Ashok Gehlot: अपनी बर्खास्तगी के बाद पूर्व सैनिक कल्याण राज्य मंत्री राजेंद्र गुढ़ा सीएम अशोक गहलोत पर जमकर बरस रहे हैं. उन्होंने कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष गोविंद सिंह डोटासरा पर भी जमकर हमला बोला. गुढ़ा ने कहा कि डोटासरा कह रहे हैं कि राजेंद्र गुढ़ा बीजेपी से मिला हुआ है. वसुंधरा राजे और अशोक […]
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Rajendra Gudha’s statement on Ashok Gehlot: अपनी बर्खास्तगी के बाद पूर्व सैनिक कल्याण राज्य मंत्री राजेंद्र गुढ़ा सीएम अशोक गहलोत पर जमकर बरस रहे हैं. उन्होंने कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष गोविंद सिंह डोटासरा पर भी जमकर हमला बोला. गुढ़ा ने कहा कि डोटासरा कह रहे हैं कि राजेंद्र गुढ़ा बीजेपी से मिला हुआ है. वसुंधरा राजे और अशोक गहलोत मिले तो कोई दिक्कत नहीं. उन्होंने कहा कि मुझे तो दूसरा काम भी नहीं आता. मुझे आदत पड़ गई है सच बोलने की. मैंने बस इतना कहा था कि मणिपुर हिंसा पर बात कर रहे हो तो राजस्थान में बढ़ते अत्याचार पर भी देखो. मैंने कहा कि अपने गिरेबां में देखो.
गुढ़ा ने बर्खास्त किए जाने के फैसले पर हमला बोलते हुए कहा कि मुझसे इस्तीफा मांग लेते तो मैं इस्तीफा दे देता. जब मुकदमा होता है तो भी समय दिया जाता है और फिर जज फैसला करता है. मुझे तो सीधे ही उड़ा दिया. उन्होंने कहा कि मैं नहीं होता तो मुख्यमंत्री जेल में होते.
वहीं, पूर्व मंत्री ने एक बार फिर लाल डायरी को लेकर बात कही. उन्होंने कहा कि लाल डायरी निकाल कर नहीं लाता तो आज रिजल्ट कुछ और होते. उस दिन मुख्यमंत्री ने कहा था कि गुढ़ा सब कुछ तेरे हाथ मे है. मैं सीआएपीएफ के 150 जवानों के बीच से निकलकर 9 मंजिल पर गया. उन्होंने खुद कहा था कि राजेंद्र गुढ़ा नही होते तो मैं नही होता.
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आपने विधानसभा में मुझे भेजा ताकि मैं सच बोलूं
गहलोत पर तंज कसते हुए गुढ़ा ने कहा कि आपने मुझे विधानसभा में भेजा भी इसलिए था कि मैं सच बोलूं. उसके बाद आप जब हमारी बहन-बेटियों की सुरक्षा नहीं कर पाए तो मैं बोल गया, यह गुनाह हो गया. मैं मरते दम तक उदयपुरवाटी, शेखावटी की जनता के लिए लड़ता रहूंगा. गौरतलब है कि गुढ़ा ने शुक्रवार को सदन में महिलाओं के बढ़ते अपराधों को लेकर कहा था कि ‘ये स्वीकार करना चाहिए, ये सच्चाई है कि हम महिलाओं की सुरक्षा में असफल हो गए. राजस्थान में महिलाओं के खिलाफ जिस तरह से अत्याचार बढ़े हैं, मणिपुर की चिंता करने की बजाय हमें अपने गिरेबान में झांकना चाहिए’.
जिसके बाद गुढ़ा ने अपनी बर्खास्तगी पर बात करते हुए राजेंद्र गुढ़ा ने बताया कि सीएम गहलोत पर एक बार नहीं, दो बार नहीं, तीन-तीन बार एहसान किए हैं. लेकिन उस आदमी में एहसान मानने का भाव नहीं है. उन्होंने बताया कि मणिपुर की घटना शर्मसार करने वाली है लेकिन हमारे यहां रोज अपराध हो रहे हैं. मणिपुर महिला दुष्कर्म के मामले में नंबर वन नहीं है. हम नंबर वन आ गए.
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