अलवर में शहीद की बेटी का कन्यादान करने पहुंचे फौजी, नजारा देखकर आंखें हो जाएंगी नम

Himanshu Sharma

27 Apr 2024 (अपडेटेड: Apr 27 2024 8:10 PM)

CRPF जवानों ने कहा कि हम बिटिया के पिता को तो वापस नहीं ला सकते लेकिन उसके हर सुख-दुख में साथ रहेंगे.

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राजस्थान के अलवर (Alwar news) में हुई एक शादी इन दिनों चर्चा में बनी हुई है. इसकी वजह ये है कि जब सीआरपीएफ (CRPF) के शहीद राकेश मीना की बेटी की शादी हुई, तो कन्यादान करने के लिए सीआरपीएफ के जवानों और अफसरों की एक टोली शादी में आ पहुंची. दरअसल, दुल्हन के पिता सीआरपीएफ के जवान थे जो साल 2010 में शहीद हो गए थे. इसलिए सीआरपीएफ के जवानों की टोली दुल्हन के पिता की कमी को पूरा करने के लिए शादी में आई.

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मामला अलवर के राजगढ़ इलाके के दुब्बी गांव का है. यहां के निवासी राकेश मीना 2010 में शहीद हो गए थे. उनकी चार बेटियां हैं. जिसमें से सबसे बड़ी बेटी सारिका की शादी कठूमर के रहने वाले नरेंद्र मीना से हुई है. हाल ही में जब यह शादी हुई तो केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (CRPF) के जवान और अधिकारियों के शामिल होने से यह चर्चा का केंद्र बन गई.

अधिकारियों ने किया दुल्हन का कन्यादान

अलवर में हुई इस अनोखी शादी में CRPF के डीआईजी संजय के अलावा दो कमांडेंट, इंस्पेक्टर, राजगढ़ पुलिस उपाधीक्षक मनीषा मीना और सीआरपीएफ के कई जवान मौजूद रहे. दुल्हन के पिता का फर्ज निभाते हुए इस शादी में सीआरपीएफ के अधिकारियों ने दुल्हन का कन्यादान भी किया. दूसरी तरफ उन्होंने सारिका के भाई का फर्ज भी निभाया और दुल्हन के ऊपर चादर उठाकर उसे स्टेज तक पहुंचाया.

दुल्हन के खाते में डाले गए 1.51 लाख रुपये

जानकारी के मुताबिक, सीआरपीएफ के अधिकारियों ने CRPF कोष से दुल्हन के खाते में 1.51 हजार रुपए डाले. इसके साथ ही समूह प्रथम अजमेर बटालियन की तरफ से AC, इलेक्ट्रॉनिक चूल्हा, मिक्सर और अन्य सामान भी दुल्हन को गिफ्त किए गए. शादी में पहुंचे CRPF के जवानों ने कहा कि हम बिटिया के पिता को तो वापस नहीं ला सकते, लेकिन उसके हर सुख-दुख में साथ रहेंगे.

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