एक सीट पर विवाद, जबकि दूसरी पर प्रत्याशी का चुनाव लड़ने से इनकार, कांग्रेस को क्यों बदलने पड़े 3 उम्मीदवार? जानें पूरी कहानी

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लोकसभा चुनाव (Lok Sabha Election 2024) के पहले चरण के लिए प्रत्याशियों ने नामांकन दाखिल कर दिए हैं. वहीं, दूसरे चरण के नॉमिनेशन की शुरुआत भी हो चुकी है. लेकिन कांग्रेस इस बीच राजस्थान (Rajasthan) में कंफ्यूज दिखाई दे रही है. नामांकन के बीच में पार्टी को 2 सीटों पर उम्मीदवार बदलने पड़ गए हैं. भीलवाड़ा और राजसमंद में पार्टी ने टिकट बदल दिए हैं. भीलवाड़ा (Bhilwara) में दामोदर गुर्जर की जगह पूर्व स्पीकर सीपी जोशी को टिकट दिया गया है. जबकि दामोदर गुर्जर को भीलवाड़ा की बजाय राजसमंद (Rajasamand) भेज दिया गया है. जबकि जयपुर शहर में पहले ही टिकट बदला जा चुका हैं. यहां उम्मीदवार बदलकर पूर्व कैबिनेट मंत्री और कद्दावर कांग्रेस नेता प्रताप सिंह खाचरियावास को उतारा गया है.

बता दें कि राजसमंद में सुदर्शन रावत ने नाम का ऐलान होने के बाद उन्होंने चुनाव लड़ने से इनकार किया था. जबकि जयपुर सीट पर विवाद खड़ा होने के चलते यहां टिकट बदला गया. लेकिन भीलवाड़ा में ना तो विवाद और ना ही प्रत्याशी का इनकार, फिर भी टिकट बदल दिया गया. सीधे तौर पर पार्टी को फैसला 2 सीटों पर ही लेना था, बजाय इसके प्रदेश की 3 सीटों पर नए नाम घोषित किए जा चुके हैं. इस स्टोरी में जानिए इसके पीछे की पूरी कहानी... 

जयपुर डायलॉग्स से शुरु हुई मुसीबत!

जयपुर लोकसभा सीट पर सुनील शर्मा के नाम के ऐलान के साथ ही कांग्रेस के लिए मुसीबत खड़ी हो गई. कथित तौर पर दक्षिणपंथी विचारधारा वाले 'जयपुर डायलॉग्स' यूट्यूब चैनल से सुनील शर्मा के कनेक्शन को लेकर विवाद शुरू हुआ. जिसके बाद पार्टी बुरी तरह फंस गई थी. कांग्रेस के दिग्गज नेता शशि थरूर समेत कई लोगों ने इस मुद्दे पर आलाकमान पर तंज कसे. जिसके बाद पार्टी के लिए मुश्किल इस कदर खड़ी हो गई कि आलाकमान को टिकट बदलना पड़ा.  के बाद कांग्रेस ने गहलोत सरकार में मंत्री रहे प्रताप सिंह खाचरियावास को मैदान में उतारा.

राजमसंद में सुदर्शन रावत ने चुनाव लड़ने से कर दिया इनकार

इसके बाद राजसमंद से पार्टी को बड़ा झटका लगा. यहां से टिकट का ऐलान होने के बाद सुदर्शन रावत ने चुनाव लड़ने से इनकार कर दिया. बता दें कि सुदर्शन रावत ने आलाकमान को लिखे पत्र में कहा कि पिछले कुछ समय से विदेश टूर के कारण सभी से संपर्क नहीं कर पाया था. साथ ही उन पर विश्वास जताने के लिए पार्टी नेतृत्व का भी आभार जताया.  ऐसे में पार्टी को टिकट बदलना पड़ा. इसके बाद सीपी जोशी के नाम की चर्चा होने लगी. 

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फिर ब्राह्मण समाज ने खोल दिया मोर्चा और अब पार्टी ने निकाला तोड़

इस पूरे मामले के बीच एक और नया विवाद खड़ा हो गया. पार्टी की ओर से घोषित सभी 25 प्रत्याशियों में से एक भी ब्राह्मण कैंडिडेट नहीं था. पार्टी पर ब्राह्मण समाज की उपेक्षा का आरोप लग गया. आशंका थी कि अब पूरा समाज लोकसभा चुनाव से पहले कांग्रेस के खिलाफ लामबंद हो सकता है. ऐसे में सीपी जोशी के चुनाव लड़ाने को लेकर पार्टी ने मंथन शुरू किया, ताकि ब्राह्मण कार्ड खेला जा सके. जिसके चलते उन्हें भीलवाड़ा से लड़ाने को लेकर मुहर लग गई और इस सीट पर घोषित हो चुके प्रत्याशी दोमादर गुर्जर का टिकट बदलकर राजसमंद से नाम का ऐलान किया गया.

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